सुरक्षित भविष्य के लिए प्लास्टिक प्रदूषण रोकने का आह्वान, साइंस सिटी में विश्व पृथ्वी दिवस मनाया गया

कपूरथला : पुष्पा गुजराल साइंस सिटी ने विश्व पृथ्वी दिवस के अवसर पर “पृथ्वी और प्लास्टिक प्रदूषण” विषय पर केंद्रित एक कार्यक्रम का आयोजन किया। इस अवसर पर पंजाब भर से 200 से अधिक छात्रों और शिक्षकों ने भाग लिया और प्लास्टिक प्रदूषण को कम करने की आवश्यकता पर बल दिया।

साइंस सिटी के निदेशक डा. राजेश ग्रोवर ने इस अवसर पर प्लास्टिक से उत्पन्न होने वाली पर्यावरणीय चुनौतियों से निपटने की आवश्यकता पर बल दिया। उन्होंने बताया कि कैसे प्लास्टिक का बढ़ता उपयोग पर्यावरण, पारिस्थितिकी तंत्र, वन्य जीवन और हमारे स्वास्थ्य को नुकसान पहुंचा रहा है। उन्होंने उपस्थित छात्रों से कचरे के पुनर्चक्रण, प्लास्टिक के उपयोग को कम करने, स्वच्छता अभियान में भाग लेने जैसी पहल के बारे में जागरूकता पैदा करने के साथ-साथ टिकाऊ प्रथाओं को अपनाने की अपील की। उन्होंने इस बात पर जोर दिया कि अगर हम सब पर्यावरण प्रदूषण के संकट को रोकने के लिए मिलकर काम करेंगे, तभी हम भविष्य में कुछ बेहतर होने की उम्मीद कर सकते हैं।

इस अवसर पर मुख्य वक्ता के रूप में पंजाबी विश्वविद्यालय, पटियाला के प्राणीशास्त्र विभाग के पूर्व प्रमुख डॉ. जगवीर सिंह उपस्थित थे। उन्होंने बताया कि भारत हर साल 120 लाख टन प्लास्टिक उत्पादों का उपयोग करके दुनिया का सबसे बड़ा प्लास्टिक बाजार वाला देश बन रहा है। इसके अलावा, हम प्रतिदिन लगभग 15342.6 टन प्लास्टिक कचरा उत्पन्न करते हैं।

उन्होंने देश में प्लास्टिक से होने वाले प्रदूषण की रोकथाम के लिए किये जा रहे प्रयासों पर प्रकाश डालते हुए कहा कि प्लास्टिक के लिफाफे पक्षियों और वन्य जीवों के लिए बेहद खतरनाक हैं। उन्होंने कहा कि समुद्र में फेंका गया प्लास्टिक कचरा हर साल 10 लाख समुद्री जीवों की जान ले लेता है। उन्होंने कहा कि प्लास्टिक प्रदूषण से कैंसर, हृदय रोग आदि का खतरा तो बढ़ ही गया है, मानव प्रजनन पर भी इसका बहुत हानिकारक प्रभाव पड़ रहा है। उन्होंने प्लास्टिक के पुन: उपयोग पर प्रकाश डाला और पॉलिथीन कचरे को नष्ट करने के लिए पर्यावरण के अनुकूल और प्रभावी तरीकों विशेषकर जैविक तरीकों को अपनाने की वकालत की।

इस कार्यक्रम के दौरान जहां छात्रों ने नुक्कड़ नाटक के माध्यम से लोगों को पर्यावरण और हमारे स्वास्थ्य पर प्लास्टिक के हानिकारक प्रभावों के बारे में जागरूक किया, वहीं प्लास्टिक कचरे से चीजें बनाने की प्रतियोगिता भी आयोजित की गई।इस अवसर पर आयोजित नाटक प्रतियोगिता में एमजीएन पब्लिक स्कूल जालंधर की टीम ने पहला स्थान हासिल किया, जबकि पार्थसीकर स्कूल ब्यास और कल्चर के एमवी स्कूल जालंधर की टीमों ने क्रमश: दूसरा और तीसरा पुरस्कार जीता। इसी तरह रहंद-खानहुद प्रतियोगिता में मेक सम गुड में पार्थसीकर स्कूल ब्यास पहले, आर्मी डबल विक्टर स्कूल ब्यास दूसरे और लार्ड कृष्णा इंटरनेशनल स्कूल सुल्तानपुर लोधी तीसरे स्थान पर रहे।


			

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