बटाला : बटाला इलाके के लुधियाना में रहने वाले मशहूर पंजाबी कवि और सेंसिटिव कंपोज़र प्रो. गुरभजन गिल की नई गानों की किताब ‘पिप्पल पत्तियाँ’ के दूसरे एडिशन की रिलीज़ सेरेमनी गुरु नानक कॉलेज, बटाला में बहुत अच्छे लिटरेरी माहौल में हुई। इस किताब को शिरोमणि गुरुद्वारा प्रबंधक कमेटी श्री अमृतसर के माननीय सदस्य श्री गुरिंदरपाल सिंह गोरा ने रिलीज़ किया और कहा कि स्टूडेंट्स को जितना हो सके किताबों से जुड़ना चाहिए।
उन्होंने कहा कि किताब ‘पिप्पल पत्तियाँ’ स्टूडेंट्स के लिए नई एनर्जी का सोर्स बनेगी। इस मौके पर गुरु नानक कॉलेज बटाला के प्रिंसिपल डॉ. चरणजीत सिंह, पंजाबी डिपार्टमेंट के हेड डॉ. गुरबीर सिंह बराड़ के साथ-साथ कॉलेज की फैकल्टी, स्टूडेंट्स और लिटरेचर लवर्स बड़ी संख्या में मौजूद थे। फंक्शन के दौरान, प्रो. गुरभजन गिल के लिटरेरी सफ़र, उनकी कविता की लोक भावना और ‘पीपल पत्तियाँ’ में दिखाए गए ज़िंदगी के अनुभवों की बहुत तारीफ़ हुई।
श्री गुरिंदरपाल सिंह गोरा ने अपने भाषण में कहा कि प्रो. गुरभजन गिल का काम पंजाबी इंसान के अंदरूनी स्वभाव, दुख-सुख और सामाजिक ज़िम्मेदारी की सच्ची तस्वीर पेश करता है। डॉ. चरणजीत सिंह ने इस इवेंट को कॉलेज के लिए गर्व की बात बताते हुए कहा कि ऐसे लिटरेरी प्रोग्राम युवा पीढ़ी को अपनी मातृभाषा और लिटरेचर से जोड़ने में अहम भूमिका निभाते हैं।
डॉ. गुरबीर सिंह बराड़ ने किताब पर बात करते हुए कहा कि ‘पीपल पत्तियाँ’ में कविता ज़िंदगी की सादगी, दर्द और उम्मीद को खूबसूरत कलाकारी के साथ दिखाती है। इवेंट का समापन लिटरेरी चर्चा और सवाल-जवाब सेशन के साथ हुआ, जिसने इवेंट को यादगार बना दिया। इस मौके पर भाई सिमरनजीत सिंह, भाई गुरमुख सिंह, कपिल दीप सिंह, सरवन सिंह, प्रो. अमृतपाल सिंह, प्रो. विश्वजीत सिंह वगैरह मौजूद थे।

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